
चंडीगढ़ गाजियाबाद मुम्बई जेसलमेर — आरके विक्रमा शर्मा अनिल शारदा दिलीप शुक्ला अरुण कौशिक चन्द्र भान सोलंकी प्रस्तुति —– धर्म पंथ सम्प्रदाय मत और मजहब में आसमान व पाताल का फर्क इसके जन्म से लेकर इसके सर्वनाश तक कभी भी किसी भी सूरते हाल नहीं मिट सकता। एक और जन्म देने वाला धर्म है तो दूसरी और मार काट करके जिंदगी खत्म कर देने वाला मज़हब है।।
जहाँ मुसलमान रहेगा… वहाँ फिर इन्सान नहीं बचेगा क्योंकि वह इन्सानियत को दुनिया से खत्म करेगा…।
श्रीलंका में एक स्थान है करुनेगला! यहीं पर एक काफी पुराना और प्रतिष्ठित अस्पताल है… करुनेगला टेक्निकल हॉस्पिटल!
पूरे शहर में एक ही अस्पताल है तो काफी भीड़ रहती है… चूंकि सिंहली और तमिल हिन्दू बहुल शहर है तो आम मरीज़ भी इन्ही समुदायों के होते हैं… कुछ परिवार मुस्लिम भी हैं…।
चूंकि अस्पताल प्रतिष्ठित है, स्पेशलिस्ट डाक्टर भी खूब हैं तो दूर दूर से मरीज़ आते हैं!…
इसी अस्पताल के स्त्री रोग विभाग के अध्यक्ष अस्वाभाविक रूप से डाक्टर मोहम्मद सीगु सियाब्दीन हैं जो गाइनकॉलजिस्ट हैं… 5 वक्त के नमाज़ी मुसलमान हैं…।
यह नोटिस किया जा रहा था कि डॉक्टर मोहम्मद सियाब्दीन मुस्लिम स्त्रियों का नसबंदी ऑपरेशन नहीं करते थे औऱ उन्हें नसबंदी के नुकसान गिनाते थे!
अपनी चेष्ठा में वह सफल भी रहते थे… अस्वाभाविक रूप से डाक्टर साहब के पास कोलंबों और करुनेगला जैसी जगहों पर 17 प्रॉपर्टी थीं, जिसकी कीमत रु 400 करोड़ हैं…।
उन्ही के अस्पताल में एक सिंहली गर्भवती नर्स को प्रसव का दर्द हुआ तो डॉक्टर मोहम्मद सियाब्दीन के पास पहुची… डाक्टर ने ऑपरेशन की सलाह दी…।
नर्स को तुरन्त एनस्थीसिया दिया गया, ऑपरेशन किया गया… जब होश आया तो पता चला कि भ्रूण जीवित नहीं पाया गया…।
कुछ दिन बाद नर्स रिलीव होकर घर आयी तो उसे अपने शरीर मे कुछ अजीब समस्याओं से दो चार होना पड़ा !
अल्ट्रासाउंड हुआ तो पता चला कि नर्स का यूटेरस (बच्चेदानी) निकाली जा चुकी है…।
डाक्टर मोहम्मद सियाब्दीन से पुलिस ने पूंछतांछ की तो पता चला कि बच्चेदानी… डाक्टर सियाब्दीन ने बगैर किसी को संज्ञान में लिए चुपके से निकाल दी है…।
आप खुद समझ सकते हैं कि गर्भस्थ भ्रूण का क्या किया होगा…?
जब खबर अखबार में छपी और चैनलों में चली तो श्रीलंका में तूफान आ गया… क्योकि सैकड़ों महिलाएं, जिन्होंने किसी भी अस्पताल में डाक्टर मोहम्मद सियाब्दीन से गर्भ संबंधी इलाज कराया था, अस्पतालों की ओर दौड़ पड़ीं..।
अस्पतालों में इन सिंहली और हिन्दू महिलाओं को चैक किया गया तो पता चला कि डाक्टर मोहम्मद सियाब्दीन ने सबकी… आपराधिक रूप से बगैर जानकारी दिए… प्रसव के दौरान नसबंदी कर दी थी!
कड़ी पूंछतांछ में डाक्टर सियाब्दीन ने बताया कि पिछले 15-20 सालों में उसने ऐसे लगभग 4000 ऑपरेशन किये हैं, जिसमे नसबंदी करके सिंहली और हिन्दू औरतों को बांझ बनाया गया था!
काफी डाटा… डाक्टर के कम्प्यूटर और लैपटॉप से भी बरामद हुआ है…।
अब चीजें खुल कर आ रही हैं… डाक्टर मोहम्मद सीगु सियाब्दीन साफी… आतंकी संगठन ‘तौहीद जमात’ से जुड़ा है… यह इस्लामिक संगठन… ISIS से सीधे जुड़ा है और श्रीलंका में अभी चर्चो और होटल में हुए बम विस्फोटों में 400 लोगों की हत्या के लिए ज़िम्मेदार है!
पिछले 20 वर्षों में हज़ारों सिंहली और हिन्दू औरतों को नसबंदी और यूटेरस निकाल कर बांझ बनाना… आज तक का सबसे घिनौना अपराध इसलिए भी है क्योंकि डाक्टर मोहम्मद सियाब्दीन ने उन हज़ारों बच्चों की हत्या कर दी, जो पैदा होने वाले थे… परिवारों की पीढ़ियां की पीढ़ियां खत्म कर दीं इस डाक्टर ने!
जिसका प्रभाव अनंतकाल तक चलता रहेगा!
यह जिहाद अमेरिका में WTC पर हमला कर 3000 लोगों को मारने से भी हज़ार गुना बड़ा है!
फ्रांस में एक जेहादी द्वारा ट्रक से कुचल कर 90 लोगों को मार देने जैसा अपराध… तो इसके सामने कुछ भी नहीं… इस अपराध के आगे मुझे सारे अपराध बौने लगे… क्योंकि मरीज़… डाक्टर को भगवान मानता है… वही डाक्टर उसकी संतानों और आगे आने वाली पीढ़ियों की प्रत्याशा खत्म कर दे…
सिर्फ इसलिए कि काफिर को जीने का हक नहीं… इसलिए भ्रूण बनने की संभावना को नसबंदी और बच्चेदानी निकाल कर समाप्त कर दिया जाये…।