चंडीगढ़ ; 11 जुलाई ; आरके विक्रमा शर्मा ;—-देश में राजनीती किस तरह के रंग बदलती है ये तो अब राजनीतिज्ञ भी बताने में असमर्थ हैं ! कौन कब किस का कहाँ और किस से कत्ल करवा दे दंगे फसाद करवा डाले कहा ही नहीं जा सकता ! आह अहमदाबाद के एक मंदिर में दंगे भड़काने के लिए कथित तौर पर भाजपा का ही कार्यकर्ता कहे जाने वाले युवक को गौ मांस सहित धरा और खूब धोया ! ये खबर सोशल मीडिया पर जंगल की अंग की तरह वायरल हो रही है ! खबर की पुष्टि किये बिना ही ग्रुप आगे फॉरवर्ड करते जा रहे हैं ! ये पहली नजर में तो हिन्दुओं की ही धर्म भावनाओं को भड़काने के सबब बनता नजर आ रहा है ! दूसरा,इसके पीछे मानसिकता कितनी ओछी है कोई भी समझ सकता ! अहमदाबाद के पुलिस क्षेत्र का ये मामला है और पुलिस को सूचित किया गया तो उसने अपनी ड्यूटी किस तरह निभाई है ! वहां के हिन्दू संगठनों ने कैसे कैसे कब कहाँ कहाँ विरोध किया इसके डबरे में भी कोई जानकारी तक सोशल मीडिया पर भी उपलब्ध है ! और अगर ये अफवाह है जो सम्प्रदायिक दंगे भड़काने के लिए उड़ाई जा रही है तो चित्र की पुष्टि क्यों नहीं की जा रही है ! सायबर क्राइम के सरकारी तंत्र अपनी ड्यूटी किन रूपों में निभाने में मशगूल है ! ये फोटोज के मुताबिक धरा गया व्यक्ति भाजपा का कार्यकर्ता कह कर प्रचारित किया जा रहा है और उसके कब्जे से बरामद गौ मांस भी सबके सामने प्रदर्शित पड़ा है ! बड़े चैनल वालों ने अपनी भूमिका कहाँ तक निभाई ये भी जानने का विषय है ! जिस धार्मिक और राजनीतिक संगठन ने इस युवक को पकड़ दबोचा उसने अपने अन्य प्रांतों में कार्यरत अपने संगठनों को इसकी सूचना क्यों नहीं दी ! अगर दी तो अन्य सूबों में इसके विरोध में उक्त संगठनों ने क्या विरोध रोष धरने उग्र प्रदर्शन किये इनकी भी कोई खोज खबर दत्तक क्यों नहीं है !