चंडीगढ़ 28 दिसंबर– आर विक्रमा शर्मा अनिल शारदा — सोशल नेटवर्क पर एक सज्जन सर पर रुमाल बांधकर पंजाबी वर्णमाला दिखाते हुए बता रहे हैं कि उन्होंने पंजाबी सीख कर जपुजी साहब का कन्नड़ भाषा में अनुवाद किया। पंजाबी सीखने में बहुत आसान है और बोलते में भी। फिर कन्नड़ में अक्षरात इसका अनुवाद किया गया है। अनुवाद करने के बाद उनको आत्मिक बल और सुकून मिला। वह सनातनी हिंदू धर्म को विश्व का युगों-युगों से कल्याणकारी पौराणिक धर्म श्रेष्ठ मानते हैं। सनातन एक धर्म है इस्लामी मजहब है जैन बौद्ध मत है सिखी पथ है। इसाई भी एक रिलिजन है। जपुजी साहब का पंजाबी से कन्नड़ भाषा में अनुवाद करने वाले सनातन धर्म को मानने वाले राव धरेनवर जी खुद कन्नड़ के रहने वाले हैं और सनातन धर्म को मानते हुए अन्य सभी मत पंथ संप्रदाय विचारधारा मजहब आदि का समान सम्मान करते हैं।