अमावस की पूजा-अर्चना से विशेष बनता है मानस : ज्योतिष आचार्य कृष्णमेहता

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चंडीगढ़ 06जून आरके विक्रमा शर्मा हरीश शर्मा प्रस्तुति –आज 🌹अमावस्या दिन विशेष🌹🌹*➡️ *स्कन्द पुराण‬ के प्रभास खंड के अनुसार -* *”अमावास्यां नरो यस्तु परान्नमुपभुञ्जते ।। तस्य मासकृतं पुण्क्मन्नदातुः प्रजायते”*🍲 *जो व्यक्ति ‪अमावस्या‬ को दूसरे का अन्न खाता है उसका महिने भर का पुण्य उस अन्न के स्वामी/दाता को मिल जाता है।**🌹🌹समृद्धि बढ़ाने के लिए -*🌙 *कर्जा हो गया है तो अमावस्या के दूसरे दिन से पूनम तक रोज रात को चन्द्रमा को अर्घ्य दे, समृद्धि बढेगी ।**🌹गुरु मंत्र या इष्ट मंत्र का खूब श्रध्दा से जप करें, जो भी समस्या है हल हो जायेगी ।**🌹🌹खेती के काम में सावधानी -*🚜 *अमावस्या के दिन खेती का काम न करें, न मजदूर से करवाएं… मंत्र जप करे एवं अमावस्या के दिन भगवत गीता का 7 वां अध्याय पढ़ें और उस पाठ का पुण्य अपने पितृ को अर्पण करें, सूर्य को अर्घ्य दें और प्रार्थना करें “आज अमावस्या के दिन मैंने जो पाठ किया है, उसका पुण्य मेरे घर में जो गुजर गए हैं, उनको उसका पुण्य मिल जाये” इससे पितरों का आर्शीवाद मिलेगा और घर में सुख सम्पति बढ़ेगी ।**🌹🌹गंगा स्नान का फल🌹🌹*➡ *07 जून 2024 शुक्रवार से गंगा दशहरा प्रारंभ…**🌹”जो मनुष्य आँवले के फल और तुलसीदल से मिश्रित जल से स्नान करता है, उसे गंगा स्नान का फल मिलता है ।” – (पद्म पुराण , उत्तर खंड)**🌹 गंगा स्नान का मंत्र -**गंगा स्नान के लिए रोज हरिद्वार तो जा नही सकते, घर में ही गंगा स्नान का पुन्य मिलने के लिए एक छोटा सा मन्त्र है..**- ॐ ह्रीं गंगायै ॐ ह्रीं स्वाहा**🌹ये मन्त्र बोलते हुए स्नान करें तो गंगा स्नान का लाभ होता है, गंगा दशहरा के दिन इसका लाभ जरुर लें ….*🙏🌹🌷💐🌹🌷💐🌹🙏

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