चंडीगढ़ 06 जून अल्फा न्यूज इंडिया प्रस्तुति – —- सिटी ब्यूटीफुल चंडीगढ़ जैसे शहर में भी ‘सेक्स रैकेट’ का घिनौना जाल अबाध गति से फैला हुआ है। होटलों में धड़ल्ले से जिस्मफरोशी हो रही है। युवतियों के मांसल जिस्म की मनचाही कीमतें लग रही हैं। आज चंडीगढ़ पुलिस ने बुड़ैल स्थित महाराजा नाम के एक होटल में छापेमारी कर जिस्मफरोशी का पर्दाफाश किया है। छापेमारी के दौरान पुलिस को यहां तीन युवतियां मिलीं। जिन्हें पुलिस ने अपने कब्जे में लिया।
इसके अलावा होटल के संचालक पर बड़ी कार्रवाई करते हुए उसे गिरफ्तार कर लिया गया। होटल संचालक की पहचान बनारसी प्रसाद के रूप में हुई है। पुलिस ने आरोपी बनारसी प्रसाद और तीनों युवतियों को कोर्ट में पेश किया है। जहां बनारसी प्रसाद को पुलिस रिमांड पर भेजे जाने के साथ तीनों युवतियों को नारी निकेतन भेज दिया गया है। तीनों युवतियों की उम्र 25 से 35 साल के करीब बताई जा रही है।
गुप्त सूचना के बाद पुलिस ने फर्जी ग्राहक भेजा
जानकारी के अनुसार, स्थानीय पुलिस को बुधवार शाम होटल में जिस्मफरोशी होने को लेकर गुप्त सूचना मिली थी। जिसके बाद सूचना सही है या गलत। इसका पता लगाने के लिए पुलिस ने देर रात अपनी तरफ से एक फर्जी ग्राहक होटल भेजा। वहीं पुलिस का फर्जी ग्राहक जब होटल पहुंचा और वहां इस बारे में जानकारी प्राप्त की। तो उससे जिस्म मुताबिक सौदा तय किया जाने लगा। मतलब पुलिस के ग्राहक ने सूचना सही पाई और इसके बाद उसके इशारे पर पुलिस ने होटल में छापेमारी कर दी।
लंबे समय से होटल में गलत काम कर रहा था बनारसी
बताया जाता है कि आरोपी बनारसी प्रसाद ने बुड़ैल स्थित महाराजा होटल 2009 में किराये पर लिया था और तबसे वह यहां होटल का संचालन कर रहा था। इसके साथ ही वह काफी लंबे समय से यह काम कर रहा था और बाहर से युवतियों को लाकर उनसे गलत काम करवाता था। होटल में हो रहे इस अवैध और गंदे काम से आसपास के लोग काफी परेशान हो रहे थे। पुलिस के मुताबिक बनारसी प्रसाद वर्ष 2009 से अभी तक यहां जिस्मफरोशी का धंधा चल रहा था हैरत की बात है कि चंडीगढ़ की मुस्तैद पुलिस को खुफिया तंत्र को किसी प्रकार की भनक नहीं लगने दी। स्थानीय लोगों के मुताबिक यह पुलिस के लिए एक शर्म की बात है। यह भी बता दें कि बुड़ैल पुलिस चौकी उक्त महाराजा होटल से ज्यादा दूर नहीं है। तो क्या सचमुच पुलिस आज तक अनजान थी। या फिर बनारसी प्रसाद पूरा शातिर धंधेबाज है। दूसरा सवाल यह पैदा होता है कि आसपास के लोगों ने पुलिस में आज तक इनफॉरमेशन या कंप्लेंट क्यों नहीं दी। क्या स्थानीय जनता बनारसी प्रसाद की किसी दहशत से डरती है। या स्थानीय पुलिस को पब्लिक क्यों नहीं
को -ऑपरेट करती है।। और सारा दोष पुलिस प्रणाली पर जड़ दिया जाता है। आजकल कदम कदम पर घर-घर में सोशल मीडिया की धाक है। तो क्या पुलिस के साथ-साथ प्रेस पत्रकार भी अनजान थे क्या उन्हें वाक्य ही प्रेस वालों को भी वर्षोंसे चल रहे उक्त धंधे की भनक तक नहीं थी। यह एक प्रश्न दिमाग का दही करने के लिए काफी है।
आखिर कहीं ना कहीं दाल में बहुत कुछ काला है। पुलिस ने जिस्म फरोशी करती हुई तीन युक्त को धारा है लेकिन क्या कोई दलाल या कोई और ग्राहक को हिरासत में लिया है इस जानकारी की प्रतीक्षा की जा रही है।।